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जीएसटी (GST) दरों में कटौती के बाद अब किसान ट्रैक्टर और अन्य कृषि उपकरण पहले से कम कीमतों पर खरीद सकेंगे।

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केंद्र सरकार ने किसानों को बड़ी राहत देते हुए ट्रैक्टर, हार्वेस्टर, थ्रेशर और ड्रिप इरीगेशन जैसी कृषि मशीनों व उपकरणों पर लगने वाले जीएसटी को 12% से घटाकर केवल 5% कर दिया है। इस फैसले से किसानों को अब इन आधुनिक कृषि यंत्रों को कम दामों में खरीदने का अवसर मिलेगा। इससे खेती की लागत कम होगी और उत्पादन क्षमता बढ़ेगी। साथ ही, छोटे और मध्यम वर्ग के किसान भी आसानी से ट्रैक्टर व अन्य उपकरण खरीद पाएंगे। सरकार का यह कदम कृषि क्षेत्र के विकास और किसानों की आमदनी बढ़ाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण निर्णय माना जा रहा है।

GST,

देशभर के किसानों के लिए बड़ी खुशखबरी आई है। केंद्र सरकार ने ट्रैक्टर, हार्वेस्टर, थ्रेशर और कीटनाशकों जैसे महत्वपूर्ण कृषि यंत्रों पर लगने वाली जीएसटी (GST) दरों को कम कर दिया है। इस फैसले के बाद अब किसानों को ये उपकरण पहले से काफी कम कीमत पर उपलब्ध होंगे।

केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बताया कि जीएसटी की नई दरें और स्लैब लागू होने से कृषि क्षेत्र में सकारात्मक बदलाव देखने को मिलेंगे। खासतौर पर छोटे और मध्यम वर्ग के किसानों को इसका सीधा लाभ होगा, क्योंकि कृषि उपकरणों की कीमत घटने से खेती की कुल लागत कम होगी। इससे किसानों का मुनाफा बढ़ेगा और उनकी आर्थिक स्थिति मजबूत होगी। सरकार का यह कदम कृषि क्षेत्र को आधुनिक बनाने और किसानों को नई तकनीक अपनाने के लिए प्रोत्साहित करने की दिशा में एक अहम पहल है।

भोपाल में आयोजित एक प्रेस वार्ता के दौरान केंद्रीय कृषि मंत्री ने किसानों और उपभोक्ताओं को राहत देने वाला बड़ा ऐलान किया। उन्होंने बताया कि जैव कीटनाशक (Bio-pesticides) और सूक्ष्म पोषक तत्वों (Micro-nutrients) पर जीएसटी (GST) की दरों में कटौती की गई है।

इस कदम से न केवल किसानों की लागत घटेगी बल्कि उन्हें रासायनिक उर्वरकों की बजाय जैव उर्वरकों (Bio-fertilizers) को अपनाने के लिए प्रोत्साहन भी मिलेगा। इससे भूमि की उर्वरता बढ़ेगी और पर्यावरण को भी लाभ पहुंचेगा। इसके अलावा, डेयरी सेक्टर में भी बड़ा बदलाव किया गया है। अब दूध और पनीर जैसे आवश्यक दुग्ध उत्पादों पर कोई जीएसटी नहीं लगेगा। इससे आम उपभोक्ता को सीधे तौर पर राहत मिलेगी, वहीं किसानों, पशुपालकों और डेयरी उद्योग से जुड़े लोगों की आय में भी वृद्धि होगी। सरकार का यह फैसला किसानों की आमदनी बढ़ाने और टिकाऊ कृषि को बढ़ावा देने की दिशा में महत्वपूर्ण माना जा रहा है।

जीएसटी (GST) घटने के बाद ट्रैक्टर की नई कीमतें

केंद्रीय कृषि मंत्री ने जानकारी दी कि जीएसटी (GST) दरों में कटौती से अब ट्रैक्टर खरीदना किसानों के लिए पहले से कहीं अधिक किफायती हो गया है। उदाहरण के तौर पर, पहले 35 एचपी (Horse Power) का ट्रैक्टर 6,50,000 रुपए में उपलब्ध था, लेकिन अब इसकी कीमत घटकर 6,09,000 रुपए रह गई है।

यानी किसानों को इस मॉडल पर करीब 41,000 रुपए की सीधी बचत होगी। इसी तरह, 45 एचपी का ट्रैक्टर जो पहले 7,20,000 रुपए में मिलता था, अब सिर्फ 6,75,000 रुपए में उपलब्ध होगा, जिससे किसानों की जेब में 45,000 रुपए बचेंगे। वहीं, 50 एचपी के ट्रैक्टर की कीमत 8,50,000 रुपए से घटकर 7,97,000 रुपए हो गई है, जिससे लगभग 53,000 रुपए की राहत मिलेगी।

इसके अलावा, 75 एचपी का ट्रैक्टर जो पहले 10 लाख रुपए में खरीदा जाता था, अब मात्र 9 लाख 37 हजार रुपए में मिलेगा, यानी इसमें किसानों को 63,000 रुपए का लाभ होगा।
यह बदलाव न केवल किसानों की लागत को कम करेगा बल्कि उन्हें आधुनिक और शक्तिशाली ट्रैक्टर आसानी से उपलब्ध कराएगा। सरकार का यह कदम खेती को और अधिक लाभकारी बनाने तथा किसानों को आर्थिक रूप से मजबूत करने की दिशा में एक बड़ा कदम साबित होगा।

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अन्य कृषि उपकरणों की घटाई गई नई कीमतें

कृषि मंत्री ने मीडिया से बातचीत में बताया कि जीएसटी (GST) दरों में कटौती का लाभ केवल ट्रैक्टर तक सीमित नहीं है, बल्कि अन्य कृषि उपकरणों पर भी किसानों को बड़ी राहत मिलेगी। उदाहरण के तौर पर, 13 एचपी का पावर टिलर, जिसकी कीमत पहले लगभग 1,69,643 रुपए थी, अब उस पर करीब 11,875 रुपए की बचत होगी। इसी तरह, धान की रोपाई के लिए इस्तेमाल होने वाला रोपण यंत्र जो पहले 2,20,000 रुपए में मिलता था, अब किसानों को उस पर लगभग 15,400 रुपए की राहत मिलेगी।

बहुफसलीय थ्रेशर, जिससे अलग-अलग फसलें आसानी से निकाली जाती हैं, उसकी कीमत में भी लगभग 14,000 रुपए की कमी आएगी। वहीं, 7.5 एचपी का पावर वीडर, जिसका इस्तेमाल खेत से घास निकालने और जमीन तैयार करने में होता है, पहले करीब 78,000 रुपए का आता था, लेकिन अब इस पर किसानों को लगभग 5,495 रुपए की बचत होगी। इसके अलावा, 11 टाइन वाला सीड कम फर्टिलाइज़र ड्रिल, जिसकी कीमत पहले 1,50,000 रुपए थी, अब इसमें करीब 10,500 रुपए की राहत मिलेगी।
ये सभी बदलाव किसानों के लिए खेती को और अधिक सस्ता, आसान और आधुनिक बनाने की दिशा में सरकार की एक बड़ी पहल माने जा रहे हैं।

सरकार द्वारा जीएसटी (GST) दरों में कमी का फायदा बड़े कृषि उपकरणों पर भी साफ तौर पर देखने को मिल रहा है। कृषि मंत्री ने बताया कि 14 फीट कटर बार कंबाइन हार्वेस्टर, जिसकी कीमत पहले काफी अधिक थी, अब उस पर किसानों को लगभग 1,87,500 रुपए की सीधी बचत होगी। इसी तरह, स्ट्रॉ रीपर जिसकी कीमत करीब 3,12,500 रुपए है, अब उसमें 21,875 रुपए की राहत मिलेगी।

सुपर सीडर मशीन, जिसकी कीमत लगभग 2,41,000 रुपए है, उस पर किसानों को करीब 16,875 रुपए की बचत होगी। हैप्पी सीडर मशीन पर 10,600 रुपए और मल्चर मशीन पर लगभग 11,500 रुपए की बचत होगी। यह मल्चर पराली को काटकर खेत में ही बिछा देता है, जिससे मिट्टी की सेहत सुधरती है और पर्यावरण को भी नुकसान नहीं पहुंचता। वहीं, ऑटोमैटिक प्लांटर, जो बीजों को एक समान दूरी पर डालने के लिए बेहद जरूरी है, इसकी कीमत करीब 4,68,700 रुपए होती है। अब इस पर किसानों को लगभग 32,800 रुपए की राहत मिलेगी।
इन सभी यंत्रों पर हुई बचत न केवल किसानों की लागत को कम करेगी, बल्कि आधुनिक तकनीक को अपनाना उनके लिए और आसान बना देगी।

सारांश (Summary)

केंद्र सरकार ने किसानों को राहत देते हुए ट्रैक्टर और अन्य कृषि उपकरणों पर जीएसटी (GST) दरों में भारी कटौती की है। अब 35 HP से लेकर 75 HP तक के ट्रैक्टर, पावर टिलर, धान रोपण मशीन, थ्रेशर, पावर वीडर, सीड ड्रिल, कंबाइन हार्वेस्टर, स्ट्रॉ रीपर, सुपर सीडर, हैप्पी सीडर, मल्चर और ऑटोमैटिक प्लांटर जैसे आधुनिक यंत्र पहले से काफी सस्ते हो गए हैं। इस निर्णय से किसानों की खेती की लागत घटेगी और उनकी आमदनी बढ़ेगी। साथ ही, छोटे और मध्यम वर्ग के किसान आसानी से आधुनिक उपकरण खरीदकर कृषि उत्पादन को और उन्नत बना सकेंगे।

FAQs (अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न)

ट्रैक्टर पर जीएसटी (GST) घटने से किसानों को कितना फायदा होगा?

मॉडल के अनुसार 35 HP से 75 HP ट्रैक्टर तक पर 41,000 से 63,000 रुपए तक की बचत होगी।

कौन-कौन से कृषि उपकरण सस्ते हुए हैं?

पावर टिलर, धान रोपण मशीन, थ्रेशर, पावर वीडर, सीड ड्रिल, कंबाइन हार्वेस्टर, स्ट्रॉ रीपर, सुपर सीडर, हैप्पी सीडर, मल्चर और ऑटोमैटिक प्लांटर।

इस फैसले से छोटे किसानों को क्या लाभ होगा?

छोटे और मंझोले किसान अब कम लागत में आधुनिक कृषि यंत्र खरीद पाएंगे, जिससे उनकी खेती आसान और लाभदायक बनेगी।

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